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हज़ारीबाग़ केआलोक को राष्ट्रपति कोविंद ने अवार्ड देकर किया सम्मानित

हजारीबाग झारखंड

देश भर में निःस्वार्थ एवं स्वेच्छापूर्वक सेवाकार्य कर रहे 40-45 लाख एनएसएस स्वयंसेवकों में हज़ारीबाग़ के खिरगांव स्तिथ पाण्डेय मोहल्ला निवासी आलोक नाथ पाण्डेय जो कि हरियाणा केन्द्रीय विश्वविद्यालय के एमसीए(2017-2020) के छात्र है, उन्हें राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार 2019-20 से सम्मानित किया गया है। आलोक ने अपनी पढ़ाई संत ज़ेवियर स्कूल से की है इसके उपरांत उसने संत कोलम्बा महाविद्यालय से बीसीए की पढ़ाई की है, उसके उपरांत उसने हरियाणा के महेंद्रगढ़ स्तिथ केंद्रीय विश्वविद्यालय से एमसीए की पढ़ाई की व वर्तमान में वह इंफोसिस में सिस्टम इंजीनियर के रूप में कार्य कर रहे है।

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उन्हें पुरस्कार के रूप में 1 लाख रुपये के साथ ही प्रशस्ति पत्र व मेडल 24 सितंबर को नई दिल्ली स्तिथ सुषमा स्वराज भवन में राष्ट्रपति के द्वारा सम्मानित किया गया। इसकी जानकारी देते हुए हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय के एनएसएस समन्वयक डॉ दिनेश चहल ने बताया कि पूरे देश भर से हर बार कुल तीन कोटि के बेस्ट कार्यक्रम समन्वयक, बेस्ट कार्यक्रम पदाधिकारी तथा बेस्ट स्वयंसेवक के रूप में छात्र व शिक्षकों को पूरे सत्र से बेहतर कार्य के लिए चयनित किया जाता है। उन्होंने ये भी कहा कि इस बार पूरे देश से आलोक समेत कुल 30 छात्र-छात्राओं का चयन एनएसएस पुरस्कार के लिए किया गया है।आलोक इस वर्ष भारत के सभी केन्द्रीय विश्वविद्यालयों में से एकमात्र छात्र है, जिसे रासेयो राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित होने का अवसर प्राप्त हुआ है। यह पुरस्कार युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा 24 सितंबर 2021 को नई दिल्ली में भारत के महामहिम राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा प्रदान किया गया।

आलोक को यह पुरस्कार सामाजिक सरोकार व सामुदायिक विकास के असाधारण सेवाकार्यों के लिए प्रदान किया जा रहा है। आलोक ने अपने छात्र जीवन (मास्टर्स) के दौरान राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यो जैसे की वृक्षारोपण अभियान, रक्तदान, स्वच्छ भारत अभियान, डिजिटल इंडिया, मतदाता जागरूकता अभियान, प्रारंभिक व प्रोफेशनल प्राथमिक उपचार की ट्रेनिंग,जारूकता हेतु नुक्कड़ नाटक, हरियाणा विधानसभा और लोकसभा चुनाव के दौरान वृद्ध व दिव्यांगजनो को वाहन सेवा प्रदान कर मताधिकार प्रयोग करवाने आदि में में बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया और छात्र-छात्राओं में होने वाले भेदभाव को कम करने के दिशा में कार्य करते हुए जेंडर चैंपियन के रूप में चयनित भी किया गया।

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आलोक ने विश्वविद्यालय छात्रों द्वारा अनुपयोगी वस्तुओं को इकठ्ठा कर परिसर में कार्य कर रहे श्रमिकों के बीच स्वयंसेवको संग वितरित करने का कार्य किया। इसके अलावे राष्ट्रीय स्तर पर वाद-विवाद प्रतियोगिता में द्वितीय स्थान भी प्राप्त किया। हकेंवि में अध्ययन के दौरान आलोक ने अपने गृह जिले हज़ारीबाग़ में टीम खुशी नाम की एक संस्था का भी गठन किया जिसने अब तक कई जरूरतमंदों के लिए बहुत सारे नेक कार्य किये है। ओल्ड ऐज होम में रह रहे वृद्धो के बीच समय-समय पर जरुरत की राशन सामग्री एवं वस्त्र का वितरण किया व अपने क्षेत्र में रह रहे है गरीब व मजदुर वर्ग के लोगो के बीच कम्बल जैसे गरम वस्त्र का वितरण किया।

विगत तीन वर्षो में पर्यावरण संकट के उद्देश्य से विश्वविद्यालय परिसर एवं आसपास के गाँव में समय – समय पर पौधरोपण कार्यक्रम चला कर दो सौ से अधिक पेड़-पौधे लगाया। कोरोना महामारी के दौरान कई लोगों के बीच राशन सामग्री का वितरण किया एवं अपने नेतृत्व में वालंटियर्स के सहयोग से पांच सौ से अधिक लोगों के बीच मास्क, सेनेटाइजर आदि का वितरण किया।

वहीं, केंद्र सरकार द्वारा आयोजित टीकाकरण कार्यक्रम में वृद्ध , दिव्यांग व् अशिक्षित लोगो के बीच जागरूकता अभियान चला कर वैक्सीन लगाने में स्वास्थ्यकर्मीयो का सहयोग किया। कोरोना काल के दौरान लोगों को कोरोना से सतर्क करने हेतु जागरूक करने के उद्देश्य से ऑनलाइन पेंटिंग, कविता पाठ, पोस्टर प्रतियोगिता आयोजित कर जागरूक किया। वातावरण को प्रदूषित होने से बचाने हेतु ग्रामीणों के बीच पराली न जलाने को लेकर जागरूकता अभियान चलाया।

स्वेच्छिक सेवाकार्य कर रहे स्वयंसेवक आलोक को शिक्षा व समाज सेवा के दौरान राज्य एवं राष्ट्रीय स्तर पर कई सारे कैम्प में चयनित होकर शामिल होने का अवसर प्राप्त किया और कई सारे पुरस्कार जीतकर विश्वविद्यालय को गौरवान्वित करने का कार्य किया।आलोक के इस ख़ास उपलब्धि पर रासेयो हरियाणा निदेशक, हरियाणा रासेयो अधिकारी, हकेंवि के प्रति कुलपति टंकेश्वर कुमार, विश्वविद्यालय एनएसएस स्वयंसेवक डॉ० दिनेश चहल सहित अन्य प्रोफेसरों ने बधाई एवं शुभकामनाएं दी है।

स्वयंसेवक आलोक ने बताया कि इस ऐतिहासिक सफलता में हकेंवि के वर्तमान कुलपति प्रो० (डॉ०) टंकेश्वर कुमार , पूर्व कुलपति प्रोफेसर रमेश चंद्र कुहाड़, छात्र कल्याण अधिस्ठाता डॉ दिनेश गुप्ता, कार्यक्रम अधिकारी डॉ रेणु यादव, डॉ आनंद शर्मा व एन एस एस समन्यवक डॉ दिनेश चहल का भी सहयोग व योगदान सराहनीय रहा है, जिन्होंने हर कार्यक्रम और गतिविधियों के लिए पूर्ण समर्थन व प्रेरणा दी। इनके मार्गदर्शन में एनएसएस वालंटियर ने हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय का राष्ट्रीय स्तर पर नाम गौरवान्वित किया है।

आलोक ने ये भी बताया कि इस सेवा भावना की चिंगारी उसके अंदर उनके पिता शम्भू नाथ पाण्डेय की समाज के प्रति समर्पण देख कर लगी। उनके पिता एक जागरूक नागरिक के साथ साथ अपने समाज के गतिविधियों में ध्यान देते रहते है यही देख आलोक ने भी समाज के प्रति अपने समर्पण को बढ़ाये रखा है आज आलोक राष्ट्रपति द्वारा सम्मानित हल चुका है।