फाइलेरिया से बचाव को लेकर चला विशेष अभियान, घर-घर खिलाई दवा
छपरा:जिले में फाइलेरिया से बचाव के लिए चलाए गए दवा सेवन अभियान के दौरान कुछ इलाके छूट गए थे। विश्व स्वास्थ्य संगठन की मॉनिटरिंग में रिविलगंज प्रखंड के टेकनिवास पंचायत के वार्ड नंबर 1 में लगभग 50 घरों के लोग दवा नहीं खा पाए थे। आयुष्मान आरोग्य मंदिर टेकनिवास पर गठित पेशेंट स्टेकहोल्डर प्लेटफार्म के सदस्यों ने भी इस बात की जानकारी दी थी।

इस पर रिविलगंज सीएचसी के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. राकेश कुमार ने खुद संज्ञान लिया। जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी दिलीप कुमार सिंह के निर्देश पर एक विशेष टीम बनाई गई। शनिवार को टेकनिवास के वार्ड नंबर 1 और औली गांव में विशेष अभियान चलाकर वंचित लोगों को दवा खिलाई गई।आशा कार्यकर्ताओं ने घर-घर जाकर दवा खिलाई।

अभियान में प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक संजीव कुमार, वीबीडीएस घनश्याम यादव और सीएचओ सत्येंद्र कुमार ने क्षेत्र में भ्रमण कर दवा वितरण सुनिश्चित किया।डॉ. राकेश कुमार ने दोनों गांवों में आशा कार्यकर्ताओं की दो-दो टीम बनाकर उन्हें निर्देश दिया कि कोई भी व्यक्ति दवा खाने से वंचित न रहे। टीम को समय पर दवा उपलब्ध कराई गई।पेशेंट स्टेकहोल्डर प्लेटफार्म के सदस्यों ने लोगों को जागरूक किया।
पंचायत की मुखिया जीरा देवी और पूर्व मुखिया नीरज कुमार यादव ने वार्ड सदस्य हरिहर मांझी को जिम्मेदारी दी कि सभी घरों में दवा खिलाई जाए। महिला समूहों की भागीदारी भी अहम रही। जीविका सीएम महामती देवी, प्रतीमा देवी और रंजू देवी ने अपने समूह की महिलाओं को दवा खिलाई।आंगनबाड़ी सेविका उना देवी और प्रियंका कुमारी, विकास मित्र सुनीता कुमारी, सीएचओ सतेन्द्र कुमार, एएनएम रानी और मीना, आशा फेसिलिटेटर तारा देवी ने भी अभियान में सहयोग दिया।
मौके पर सीफार के डीपीसी गनपत आर्यन और पीए कृष्णानंदन सिंह भी मौजूद रहे।डॉ. राकेश कुमार ने बताया कि फाइलेरिया एक गंभीर मच्छरजनित बीमारी है। यह संक्रमित मच्छर के काटने से फैलती है। इससे बचाव के लिए समय पर दवा खाना जरूरी है। विभाग का लक्ष्य है कि इस बीमारी को जड़ से खत्म किया जाए और लोगों को स्वस्थ जीवन मिले।