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युवतियां अचार का व्यवसाय कर दुगना लाभ कमा सकती:मोहन मुरारी

सीवान(बिहार)जिले के भगवानपुर हाट प्रखंड मुख्यालय में स्थित कृषि विज्ञान केंद्र के प्रशिक्षण सभागार में आयोजित पांच दिवसीय प्रशिक्षण में तीसरे दिन गुरुवार को युवतियों ने मिर्च का अचार,गाजर, मूली का मिक्चर अचार बनाने की विधि से रूबरू कराया।

जिसके उपरांत सरिता कुमारी विशेषज्ञ गृह विज्ञान के देखरेख में गाजर मूली एवं नींबू का मिक्चर अचार तैयार किया गया।केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉ.अनुराधा रंजन कुमारी ने सब्जियों में मूल्य संवर्धन करने की उपयोगिता एवं उसके लाभ पर विशेष जोर दिया गया।

फार्मर फेस एग्रीकल्चर रिसर्च हिलसर के मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी मोहन मुरारी सिंह ने प्रशिक्षण के बाद जो युवतियां अचार बनाकर बेचने का कार्य प्रारंभ करना चाहती है। उन्हें मार्केट की व्यवस्था की जानकारी दी।उन्होंने ने युवतियों को अचार बनाकर मूल्य का निर्धारण करना, मार्केटिंग के लिए मूल्य का निर्धारण करने का तरीके से रुबरु कराया।

उन्होंने बताया कि भारतीय थाली में अचार की आवश्यकता वर्तमान समय में काफी बढ़ गया है और विभिन्न प्रकार के अचार बनाने की सामग्री हमारे पास उपलब्ध है। भोजन में अचार का होना सबकी पसंद है।युवतियां अचार का व्यवसाय कर दुगना लाभ कमा सकती है।कोई भी महिला प्रतिदिन 2 घंटे का समय निकालकर घर बैठे अचार का व्यवसाय शुरू कर अपनी आर्थिक स्थिति मजबूत कर सकती है।

जिससे प्रति माह कम से कम आसानी से सात से आठ हजार रुपया कमा सकती है।इस तरह कृषि विज्ञान केंद्र में प्रशिक्षण प्राप्त कर अपनी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ कर सकती है। प्रशिक्षण के बाद सभी प्रशिक्षणार्थी से अचार बनवाया गया। प्रशिक्षण में इंजीनियर कृष्ण बहादुर क्षेत्री, डॉ. हर्षा बीआर, डॉ.नंदीशा सीवी, डॉ.जोना दाखो ने अपने अपने विचार व्यक्त किए।