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आठ हजार मैट्रिक टन धान खरीद के लक्ष्य में से मात्र 25 सौ मैट्रिक टन धान की खरीद हुई

धान की खरीदारी की रफ्तार सुस्त होने से माफियाओं की चांदी
रजिस्टर्ड किसान 15 फरवरी तक अपना धान बेच सकते है

भगवानपुर हाट(सीवान)प्रखंड क्षेत्र में सहकारिता के द्वारा धान खरीद की रफ्तार सुस्त होने से माफियाओं की चांदी कट रही है।तथा किसान अपने धान को औने पौने दाम बेचने पर मजबूर है।

भगवानपुर हाट व्यापार मंडल में धान अधिप्राप्ति करते कर्मी

मरजुमला के किसान राजेन्द्र यादव ने बताया कि रजिस्ट्रेशन के बाद भी पैक्स के द्वारा धान की खरीद नहीं कि जा रही है।जिससे किसान परेशान है।ज्ञात हो कि प्रखंड में एक नवम्बर से ही धान की खरीदारी के लिए किसानों के द्वारा रजिस्ट्रेशन कराया जा रहा है।जिसमे धान बेचने के लिए किसान 31 तक रजिस्ट्रेशन का अंतिम तिथि था।

जिसमे प्रखंड में आठ हजार मैट्रिक टन धान खरीद करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।जिसमे क्षेत्र में 14 पैक्सों व एक व्यापार मंडल के द्वारा धान अधिप्राप्ति का कार्य शुरू हो गया है। जिसमे अबतक 25 सौ मैट्रिक टन धान की अधिप्राप्ति हो गई है।इसकी जानकारी प्रखंड सहकारिता पदाधिकारी राजन कुमार ने दी।

उन्होंने ने बताया कि प्रखंड क्षेत्र के 18 सौ से अधिक किसानों के द्वारा धान अधिप्राप्ति के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है।जिसमे किसान से ग्रेड 01 के धान के लिए सरकार ने 1960 रुपया प्रति क्यूंटल, ग्रेड 02 के धान के 1940 रुपये प्रति क्यूंटल तय किया है।जिसमे किसान 17 प्रतिशत तक सिम धान को बेच सकते है।

उन्होंने ने बताया कि गोदाम फूल हो जाने के कारण धान अधिप्राप्ति का कार्य धीमा हो गया है।किसानों के धान अधिप्राप्ति के उपरांत उनके खाता में आरटीजीएस के माध्यम से पैसा भेजने की व्यवस्था किया गया है।जिससे किसानों के खाते में दो से चार दिनों में राशि उपलब्ध हो जा रही है।उन्होंने बताया कि बिठुना,शंकरपुर,सहसराँव,बलहा एराजी,विलासपुर, दक्षिणी साघर सुल्तानपुर,ब्रह्मस्थान, गोपालपुर,उतर साघर सुल्तानपुर,मिरजुमला आदि पैक्स के द्वारा धान अधिप्राप्ति की जा रही है।उन्होंने ने बताया किसान 15 फरवरी 2022 तक अपना धान बेच सकते है।