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फाइलेरिया मिटाने को गांव में बना रोगी हितधारक मंच

सिवान:हसनपुरा प्रखंड के लहेजी गांव स्थित हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर फाइलेरिया और मच्छर जनित बीमारियों के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने के लिए रोगी हितधारक मंच (पीएसपी) का गठन किया गया। बैठक की अध्यक्षता पंचायत की मुखिया रीता देवी ने की। संचालन सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी दिन दयाल जगरवाल ने किया। मुखिया ने कहा कि फाइलेरिया उन्मूलन में जनप्रतिनिधियों की भूमिका अहम है। सभी पंचायत प्रतिनिधियों को इस अभियान में सक्रिय भागीदारी करनी चाहिए। तभी गांव और समाज से फाइलेरिया जैसी बीमारी को जड़ से मिटाया जा सकता है।

सीएचओ दिन दयाल जगरवाल ने बताया कि पीएसपी के सदस्यों को फाइलेरिया के साथ कालाजार, मलेरिया, चिकनगुनिया, चमकी बुखार और टीबी से बचाव और इलाज की जानकारी दी गई। मंच का उद्देश्य गांव में किसी भी बीमारी की जानकारी समय पर स्वास्थ्य केंद्र तक पहुंचाना है।

हसनपुरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. मनोज कुमार ने बताया कि फाइलेरिया क्यूलेक्स मच्छर के काटने से फैलता है। संक्रमित व्यक्ति को काटने के बाद वही मच्छर किसी स्वस्थ व्यक्ति को काटता है तो संक्रमण फैलता है। इसके लक्षण 5 से 15 साल में दिखते हैं। हाथ-पैर या अंडकोष में सूजन आ सकती है। महिलाओं में स्तन के आकार में बदलाव हो सकता है। बीमारी का समुचित इलाज नहीं है, लेकिन शुरुआती पहचान से इसे रोका जा सकता है। मरीजों को साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखना चाहिए।

पीएसपी गठन के दौरान दो फाइलेरिया मरीजों को एमएमडीपी किट दी गई। सीएचओ और सिफार टीम ने बताया कि इस किट के नियमित इस्तेमाल से हाथीपांव की सूजन को काबू में रखा जा सकता है। इसके लिए मरीजों को खुद जागरूक होना जरूरी है। समय पर इलाज नहीं होने पर फाइलेरिया से दिव्यांगता भी हो सकती है। इसलिए सरकार ने इसके उन्मूलन की दिशा में प्रयास तेज कर दिए हैं।

सीएचओ दिन दयाल जगरवाल ने बताया कि पीएसपी गठन का उद्देश्य समाज में जागरूकता फैलाना और मरीजों को उनके अधिकारों की जानकारी देना है। इसमें मुखिया रीता देवी, सामाजिक कार्यकर्ता राकेश कुमार यादव और सिफार टीम की अहम भूमिका रही। सिफार के बीसी सोनू कुमार ने सभी सदस्यों और मरीजों को मच्छर जनित बीमारियों से बचाव और एमएमडीपी किट के फायदे बताए।

इस मौके पर मुखिया रीता देवी, सामाजिक कार्यकर्ता राकेश कुमार यादव, सीएचओ दिन दयाल जगरवाल, पंच कलावती देवी, शिक्षक प्रशांत भारती, एएनएम मानकी कुमारी, आशा फेसिलेटर बबिता कुमारी, सिफार के डीपीसी धर्मेंद्र रस्तोगी, बीसी सोनू कुमार, सेविका, सहायिका, आशा कार्यकर्ता और फाइलेरिया मरीज मौजूद रहे।